देवदास (बांग्ला उपन्यास) : शरतचंद्र चट्टोपाध्याय Part 2
देवदास (बांग्ला उपन्यास) : शरतचंद्र चट्टोपाध्याय Part 2 3 पिता की मृत्यु के बाद धीरे-धीरे छः महीने बीत गये। देवदास घर में एकदम ऊब गये। सुख नही, शान्ति नही, उस पर एक ही तरह की जीवनचर्या से मन बिल्कुल विरक्त हो चला। तिस पर पार्वती की चिन्ता से चित और भी अव्यवस्थित हो रहा था; …